रविवार, 11 मई 2025

शब्द

 शब्द आतिथ्य में भावनाओं का गबन

आप जैसा ही शब्द करता है मनन


क्या कहा आपने लगा कि आप कह गईं

आपको सुनने की कोशिश कहीं बहल गई

कभी समझा ना कभी समझा लगे कथन

आप जैसा ही शब्द करता है मनन


भावनाएं मांगती हैं शब्द से चुना खास ही

शब्द कहता जियो सबकुछ नहीं प्यास ही

शब्द चुपचाप रहें भावनाओं का हो जतन

आप जैसा ही शब्द करता है मनन


हर नए व्यक्तित्व की प्रोफाइल से जांच

जैसे कोरे शब्द में ढूंढना भाव की आंच

तपिश अनुभूति की ढूंढ रही कहां अगन

आप जैसा ही शब्द करता है मनन।


धीरेन्द्र सिंह

11.05.2025

21.13